दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान (DJJS) द्वारा 6 और 7 सितंबर, 2023 को डीडीए ग्राउंड, सेक्टर 10, द्वारका, नई दिल्ली में शाम 7 बजे से श्री कृष्ण जन्माष्टमी महोत्सव 2023- “संभवामि युगे युगे- अपने भीतर कृष्ण चेतना का अनुभव करें” मनाया जाएगा।
दिव्य ज्योति जाग्रति संस्थान एक अंतरराष्ट्रीय, गैर-लाभकारी, सामाजिक एवं आध्यात्मिक संस्था है, जिसकी विश्व भर में 350 से अधिक शाखाएं हैं और इसका मुख्यालय पीतमपुरा, नई दिल्ली में स्थित है। यह संस्था करोड़ों अनुयायियों और हज़ारों समर्पित स्वयंसेवकों के साथ चार दशकों से अधिक समय से सक्रिय है।
G20 Summit के उद्देश्य का समर्थन करते कुछ विशेष पहलू-
1. G20 की थीम “वसुधैव कुटुंबकम्” पर आधारित वैदिक मंत्रोच्चारण से कार्यक्रम का शुभारंभ
सैंकड़ों की संख्या में पीताम्बर धारी वेद पाठियों द्वारा शुक्ल यजुर्वेद रुद्राष्टाध्यायी के मंत्रोच्चारण से इस जन्माष्टमी महोत्सव का शुभारंभ होगा, जो सबके भीतर वसुधैव कुटुंबकम् की भावना को जगाएंगे। G20 Summit की सफलता हेतु प्रार्थनामयी शुभकामनाएं देने तथा दिव्य तरंगों से वातावरण को सुंदर बनाने का यह संस्थान द्वारा एक अनूठा प्रयास है।
2. “वेदान्तिक G20 मॉडल” का डिजिटल लॉन्च
G20 Summit की मेज़बानी में भारत ने पर्यावरण, नारी सशक्तिकरण, संस्कृति का संरक्षण एवं संवर्धन इत्यादि पहलुओं को विशेष प्राथमिकता दी है। इन क्षेत्रों में ठोस नीतियां बनाने के अतिरिक्त, भारत के पास एक विशिष्ट उपहार और भी है, जो बेहद महत्वपूर्ण तथा अतुलनीय है। वह है गीता में वर्णित ब्रह्मज्ञान का सनातन विज्ञान, जो “आत्म जागृति से विश्व शांति” के उद्देश्य को साकार करने का एकमात्र फॉर्मूला है। इसी सनातन विद्या पर आधारित एक एनिमेटिड 3-आयामीय “VEDANTIC G20 MODEL” का अतिथिगणों एवं संस्थान के वरिष्ठ प्रचारकगणों द्वारा डिजिटल लॉन्च किया जाएगा। यह उद्घाटन 3000 sq ft की डिजिटल स्टेज के साथ साथ, पूरे पंडाल में लगाई गईं 10 बड़ी delay LEDs पर दिखाया जाएगा।
3. ‘द्वापर युगीन G20 Summit के सर्वोत्तम प्रतिनिधि- श्री कृष्ण पर आधारित मार्मिक विवेचनाएं-
एक विशेष सत्र में भगवान कृष्ण की लीलाओं व संदेशों में निहित गूढ़ तथ्यों को अनावृत किया जाएगा, जो निःसंदेह भारतीय संस्कृति की महिमा उजागर करेंगे। ये तथ्य वर्तमान समय की उन सामाजिक, आर्थिक, राजनीतिक, व पर्यावरण संबंधित समस्याओं के समाधान पर रोशनी डालेंगे, जो इस वर्ष के G20 Summit के एजेंडा में शामिल है ।
4. विशाल स्तरीय प्रतिज्ञा समारोह
G20 Summit के मुख्य एजेंडा ‘Lifestyle for Environment (LiFE)’ को समर्पित एक विशेष सत्र आयोजित किया जाएगा, जिसमें कई हज़ारों की संख्या में आए दर्शकगणों को पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरूक किया जाएगा। जलती मशालों के बीच ये सभी आगंतुक खड़े होकर “जीवनशैली में आवश्यक परिवर्तन” करने का संकल्प लेंगे। उनका यह जागृत उद्घोष और उसकी वृहद्ता को दर्शाता दृश्य भारत के ‘Walk the Talk’ पहलू को प्रयोगात्मक ढंग से प्रमाणित करेगा। साथ ही, यह कार्यक्रम पूर्ण रूप से प्लास्टिक मुक्त रहेगा। पर्यावरण को जिनसे नुकसान न पहुंचे, ऐसे विकल्प चुनें जायेंगे, जैसे- पेपर कप्स, दुबारा प्रयोग किए जा सकने वाले सूती बैग, इत्यादि।
विशिष्ठ एवं गणमान्य अतिथि
विभिन्न क्षेत्रों की प्रतिष्ठित हस्तियों जैसे कि राजनैतिक, मीडिया, मेडिकल, सर्वोच्च न्यायालय से, तथा शैक्षणिक संस्थानों एवं कंपनियों के प्रमुखों को कार्यक्रम में निमंत्रण दिए गए हैं।
विशाल संख्या में दर्शक (ऑफलाइन/ऑनलाइन)
संस्थान के अध्यक्ष स्वामी आदित्यनंद जी के अनुसार, ‘इस दो दिवसीय महा-आयोजन में लगभग 40,000-50,000 भक्त श्रद्धालुओं आएंगे। दर्शकों में शामिल होंगे बड़ी संख्या में जिज्ञासुजन, कृष्ण भक्त, युवा एवं कॉर्पोरेट्स; कारण कि कार्यक्रम में दिए जाने वाले व्याख्यान पूरी तरह से प्रासंगिक व वैज्ञानिक होंगे।‘
इस कार्यक्रम को वेबकास्ट के द्वारा भी वैश्विक स्तर पर दर्शकों तक पहुँचाया जाएगा। यह वेबकास्ट 7 सितंबर, 2023 को DJJS के आधिकारिक यूट्यूब चैनल (djjsworld) से प्रसारित होगा।
अद्भुत नृत्य नाटिकाएं
इस दो दिवसीय कार्यक्रम में श्री कृष्ण चरित्र पर आधारित नृत्य नाटिकाओं का मंचन किया जाएगा, जैसे - ‘भगवान कृष्ण द्वारा अत्याचारी शासक कंस का वध’, ‘कृष्ण भक्त सूरदास जी द्वारा सुनाई गई राम कथा’, ‘चैतन्य महाप्रभु की जीवनगाथा’, ‘क्रांतिकारी समाज सुधारक मीरा बाई’, ‘भगवान श्री कृष्ण का जन्मोत्सव’ आदि।
मंच पर होने वाली प्रस्तुतियों के बारे में जानकारी देते हुए, संस्थान की वक्ता, साध्वी तपेश्वरी भारती जी कहती हैं, ‘इसमें 250 से अधिक कलाकारों द्वारा 15 से अधिक उत्कृष्ट प्रस्तुतियों का मंचन किया जाएगा। ये सभी DJJS के संस्थापक एवं संचालक, दिव्य गुरुदेव श्री आशुतोष महाराज जी के नि:स्वार्थी तथा आध्यात्मिक रूप से जाग्रत शिष्य हैं। ये विभिन्न स्कूलों, कॉलेजों, संस्थानों, कॉर्पोरेट कंपनियों आदि से संबंध रखते हैं। ये सभी DJJS द्वारा बड़े पैमाने पर आयोजित ऑडिशन के माध्यम से चुने जाते हैं, जिनमें चरित्र की अभिव्यक्ति, शारीरिक बनावट और उम्र से जुडी बारीकियों का ध्यान रखा जाता है।‘
ये नाटिकाएं ओडिसी, छाऊ, बंगाली, कथक, फ्यूजन, राजस्थानी, आदि सांस्कृतिक नृत्यों के साथ जोड़कर खूबसूरती से कोरियोग्राफ की गयी हैं।‘ साथ ही साध्वी जी मंच की पवित्रता के बारे में बताती हैं कि: ‘कलाकार प्रदर्शन से पहले पर्दे के पीछे ध्यान में बैठते हैं। पति पत्नी की भूमिकाओं के लिए हमेशा उन्ही जोड़ों को लिया जाता है जो असल जीवन में भी दम्पति होते हैं।‘
उत्तम वक्ता
इस कार्यक्रम में DJJS के 20-25 समर्पित, उच्च योग्यता एवं निपुणता वाले स्वामियों व साध्वियों द्वारा अद्भुत विवेचनाएं दी जाएंगी, जो पूरी तरह से वैज्ञानिक और व्यावहारिक होंगी। जैसे कि- साध्वी डॉ. निधि भारती (ऑपरेशनल साइंस में Ph.D, DJJS के कॉर्पोरेट कार्यक्रम PEACE की ग्लोबल कोऑर्डिनेटर), साध्वी श्रेया भारती (अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रसिद्ध श्री राम कथाव्यास), साध्वी तपेश्वरी भारती (गणित में M.Sc., DJJS की मासिक आध्यात्मिक पत्रिका – अखण्ड ज्ञान की संपादिका), स्वामी चिन्मयानंद (‘राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता’ कामधेनु गौशाला के ग्लोबल कोऑर्डिनेटर), साध्वी डॉ. शिवानी भारती (बायोटेक्नोलॉजी में Ph.D, SAM- युवा सहभागिता कार्यक्रम की ग्लोबल कोऑर्डिनेटर), साध्वी दीपिका भारती (पूर्व छात्रा - निफ्ट, संतुलन- DJJS के लिंग समानता कार्यक्रम की ग्लोबल कोऑर्डिनेटर), साध्वी आस्था भारती (अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रसिद्ध श्रीमद्भागवत कथाव्यास), साध्वी परमा भारती (M.Tech में स्वर्ण पदक विजेता, इंजीनियरिंग कॉलेज में पूर्व लेक्चरर), साध्वी अदिति भारती (पूर्व छात्रा - TERI, पर्यावरण में M.Sc. में स्वर्ण पदक विजेता, संरक्षण – DJJS के पर्यावरण संरक्षण कार्यक्रम की ग्लोबल कोऑर्डिनेटर)।
श्री कृष्ण के जीवन से सम्बंधित प्रासंगिक तथ्यों को समझाने के अतिरिक्त, ये सभी वक्ता श्री कृष्ण लीलाओं से जुड़ी मिथ्या और गलत धारणाओं को अपने अकाट्य तर्कों से निराधार सिद्ध करेंगे। दर्शकों को आध्यात्मिक तरंगों से लाभान्वित करने हेतु विश्व भर से गुरुदेव श्री आशुतोष महाराज जी के 1000+ संन्यासी शिष्य और शिष्याएं भी आएँगी।‘
सशक्त स्वयंसेवक
DJJS के सुरक्षा नियंत्रण अधिकारियों के अनुसार, ‘इस कार्यक्रम के समग्र प्रबंधन तथा सुरक्षा के लिए 1500 से अधिक पूर्णतः प्रशिक्षित स्वयंसेवकों तथा सुरक्षा विभाग के सेवादारों को तैनात किया गया है।‘
पूर्णतः डिजिटल स्टेज
100 फ़ीट से बड़ी स्टेज पर विशाल LED स्क्रीनस (लगभग 3000 वर्ग फीट) लगाई जाएंगी, जो मंच के फेशिया, साइड पैनल और पृष्ठभूमि को कवर करेंगी। साथ ही पूरे पंडाल में 24X14 वर्ग फीट की 10 delay LED स्क्रीन्स लगाई जाएंगी। यह सम्पूर्ण सेटअप भौतिक और डिजिटल दुनिया के बीच की सीमा को समाप्त करेगा। प्रस्तुतियों के लिए विशिष्ट वातावरण बनाने हेतु 3D प्रोजेक्शन को उच्चतम रिज़ॉल्यूशन (8K) में रखा जायेगा। इन्हें कला, संस्कृति, विरासत, दीवार पैनलिंग, नक्काशी द्वारा इतने बेहतरीन ढंग से डिजाइन किया गया है, जिससे कि दर्शकों को प्रस्तुति से जुड़े समय और युग की जीवंत अनुभूति हो सके।
संगीत रचनाएँ
इस कार्यक्रम और संस्थान के संगीत निर्देशक स्वामी हितेंद्रानंद जी के अनुसार, ‘आमतौर पर संगीत वाद्ययंत्रों को ब्रिटिश स्टैंडर्ड्स के अनुसार 440 HZ पर ट्यून किया जाता है। परन्तु, DJJS अपने सभी संगीत वाद्ययंत्रों को प्राचीन भारत के संगीत विज्ञान के अनुसार 432 HZ पर ट्यून करता है। यह संगीत न केवल प्रकृति के साथ सामंजस्य बिठाता है, बल्कि नव रसों की तरंगें भी उत्पन्न करता है। इससे कार्यक्रम में आए दर्शकों को विशेष मानसिक स्वास्थ्य लाभ मिलेगा।‘
विस्मयकारी झांकियां
350 फीट से अधिक क्षेत्रफल झाँकियों (भगवान कृष्ण के जीवन की घटनाओं को दर्शाने वाली विभिन्न झाँकियाँ) के लिए समर्पित है। इस बार झांकियों की थीम होगी: ‘पायें कृष्ण लीलाओं में सहभागी होने का विलक्षण अवसर’! भगवान श्री कृष्ण की लीलाओं में कृष्ण प्रेमियों को सांस्कृतिक रूप से सहभागी होने का अवसर दिया जायेगा। आम तौर पर, झांकियों को देखने वाला व्यक्ति दूर खड़े होकर एक मूक दर्शक बना रहता है। परन्तु ये झाँकियाँ आगंतुकों को श्री कृष्ण की लीलाओं में सहभागी बना कर उन्हें एक सुन्दर अनुभव प्रदान करेंगी।